
लखनऊ। महाशिवरात्रि को लेकर राजधानी लखनऊ के शिवालयों में तैयारियां पूरी हो चुकी हैं। बुधवार को कहीं भस्म आरती होगी तो कहीं गंगाजल ओर दूध से अभिषेक होगा। इसके अलावा कई जगहों पर भगवान भोलेनाथ को 56 प्रकार के व्यंजनों का भोग लगाया जाएगा। शिव मंदिरों में सफाई, रंग रोगन व सजावट का काम भी पूरा हो चुका है। राजेंद्रनगर स्थित महाकाल मंदिर में मंगलवार रात 12 बजे से पट खोल दिए जाएंगे। सुबह चार बजे तक उन यजमानों की ओर से भस्म आरती की जाएगी, जिनकी पहले से बुकिंग है। मंदिर के व्यवस्थापक अतुल मिश्रा ने बताया कि सुबह चार बजे बाबा का शृंगार भांग-मेवे से किया जाएगा और भस्म आरती होगी। इसके बाद उज्जैन की तर्ज पर मंदिर में आरती के बाद भोग लगाया जाएगा। सुबह 6.30 से दोपहर एक बजे तक भक्तों के लिए पट खोले जाएंगे और गंगाजल से अभिषेक होगा।
मंदिर के अध्यक्ष विक्रम कपूर और महामंत्री गिरीश चंद्र ने बताया कि शाम 5.30 से 6.30 बजे तक पट बंद रहेंगे। इसके बाद पौने सात से महारुद्राभिषेक होगा, जिसमें 11 लीटर दूध और सवा किलो पंच मेवा दही, शक्कर, मक्खन, पनीर आदि से बाबा का अभिषेक होगा। शाम 7.30 से आठ बजे तक बाबा का भव्य शृंगार होगा। इसके बाद 151 और 121 दीपों से महाआरती होगी। रात नौ बजकर पांच मिनट पर बाबा को 56 व्यंजनों का भोग लगेगा। वहीं चौक स्थित कोनेश्वर महादेव मंदिर को भव्य लाइटों से सजाया गया है। यहां के पुजारी अमरनाथ मिश्रा ने बताया कि बाबा का फूलों से भव्य शृंगार होगा। बुधवार शाम को विशेष भजन संध्या होगी, जिसमें सचिन तिवारी भजनों की प्रस्तुति देंगे। शहनाई वादन होगा। प्रसाद के रूप में ठंडाई का वितरण किया जाएगा। मंदिर में मंगलवार रात्रि 12 बजे से बुधवार सुबह 5 बजे तक रुद्राभिषेक होगा। ब्रह्ममुहूर्त में तीन बजे ही कपाट भक्तों के लिए खोल दिए जाएंगे। 27 फरवरी को मंदिर का स्थापना दिवस भी मनाया जाएगा, जिसके तहत भंडारा होगा। यह परंपरा 127 वर्षों से निभाई जा रही है।
डालीगंज स्थित मनकामेश्वर मंदिर की महंत देव्या गिरि ने बताया कि यहां आने वाले श्रद्धालु गोमती का जल लेकर शिवलिंग का पहला अभिषेक करेंगे। इसके बाद कांवड़ियों के लाए गंगाजल से रुद्राभिषेक होगा। देव्या गिरि ने कहा कि देशी घी से बनी पूड़ी-सब्जी और अनाज का वितरण प्रसाद के रूप में किया जाएगा। सुबह चार बजे मंदिर के पट खुलेंगे और शाम सात बजे बंद हो जाएंगे। सफाई के बाद आठ बजे से आरती होगी।