बहराइच: घड़यिाल के बच्चे छोडे गये घाघरा नदी में

बहराइच । उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले के घडियाल पुनर्वास केन्द्र कुकरैल ब्रीङ्क्षडग सेंटर पर तैयार किए गए घड़यिाल के बच्चों को आज वन विभाग और डब्ल्यूआईआई की संयुक्त टीम द्वारा घाघरा नदी में छोड़ा गया।
वन विभाग ने जानकारी देते हुए बताया कि घाघरा नदी को जीव-जंतु के प्राकृतिक आवास के रूप में सुरक्षित रखने का प्रयास किया जा रहा है।
लुप्तप्राय परियोजना के अंतर्गत घडियाल पुनर्वास केन्द्र कुकरैल से वन विभाग लखनऊ की अनामिका ङ्क्षसह, रेनू ङ्क्षसह, डीएफओ बहराइच अजीत प्रताप ङ्क्षसह, वन क्षेत्राधिकारी कैसरगंज मोहम्मद साकिब, वन दरोगा शीतला प्रसाद यादव और डब्ल्यूआईआई की संयुक्त टीम ने कुकरैल ब्रीङ्क्षडग सेंटर में तैयार किए गए तीन साल के 64 घड़यिाल के बच्चों को घाघरा नदी में छोड़ा।
यह घड़यिाल के बच्चे हैङ्क्षचग के बाद बाहर निकलते हैं और उन्हें तीन साल तक कुकरैल में रखा जाता है। इसके बाद, नमामि गंगे योजना के तहत इन्हें नदियों में छोड़ा जाता है, जिससे कि इनकी संख्या में वृद्धि हो सके और वे अपने प्राकृतिक वातावरण में उचित रूप से विकसित हो सकें। इस पहल से न केवल घड़यिालों की संख्या बढ़ेगी, बल्कि यह घाघरा नदी के पारिस्थितिकी तंत्र को भी संतुलित रखने में मदद करेगी। वन विभाग ने इसे एक महत्वपूर्ण कदम बताया है और आगे भी इस दिशा में प्रयास जारी रखने की बात कही है।